तुम्हारा पथ उज्जवल है
हम तो बीते, रीते, रीते
काँटे चुनते, राह बनाते
धीरे-धीरे आ पहुँचे--
अब इस पड़ाव पर
आने वालों! बढ़ते आओ,
निर्भय होकर, पुलकित होकर
पद चिन्हों का आश्रय लेकर
और उन्हें कुछ सुगम बनाकर
तन-मन हर्षित है, आलोकित,
और तुम्हारा पथ उज्जवल है।
मार्ग अगर है टेढ़ा-मेढ़ा
ऊँचा-नीचा फिर अति ऊँचा
स्ंकरा, पतला चौड़ा फैला
या------ अति गहरा
शिथिल हुये तुम थक जाते हो
ठहरो, पल भर कुछ सुस्तालों
देखो मनोरम चिन्ताहारक हारक
दृश्य चतुर्दिक बहते झरनों की
किलकारी, पशु, पक्षी कलरव
कोलाहल, कही छाँव में--
सोचो प्यारों, पलभर सोचों
नई ऊर्जा भरकर खुद में
नई मानसिकता का आसव
दृढ़ हो भय डर कैसा अरे
आत्मा विश्वासी मानव हो
तुम वीर साहसी------
और तुम्हारा पथ उज्जवल है।
जगह-जगह सेकेत बनाते
चलते-चलते चलना जीवन
जूझ-जूझ कर जीना जीवन
औरो के हित जीना जीवन
मेरा तो गन्तव्य यहीं तक
आगे हमसे राह बनाना
काम तुम्हारा लक्ष्य तुम्हारा
इसी तरह चलता जायेगा
जीवन पथ बढ़ता जायेगा
और-और कुछ और---
हजारों वर्ष बनेगे
हम न रहेंगे तुम न रहोगे
आना जाना लगा रहेगा
पथ का कोई अन्त न होगा
महाजनों का नाम रहेगा
पदचिन्हों का शेष रहेगा
इसी लिये कुछ ऐसा करदो
रह जाये बस नाम तुम्हारा
नाम तुम्हारा, पथ उज्जवल है
स्नेह चन्द्रा
हम तो बीते, रीते, रीते
काँटे चुनते, राह बनाते
धीरे-धीरे आ पहुँचे--
अब इस पड़ाव पर
आने वालों! बढ़ते आओ,
निर्भय होकर, पुलकित होकर
पद चिन्हों का आश्रय लेकर
और उन्हें कुछ सुगम बनाकर
तन-मन हर्षित है, आलोकित,
और तुम्हारा पथ उज्जवल है।
मार्ग अगर है टेढ़ा-मेढ़ा
ऊँचा-नीचा फिर अति ऊँचा
स्ंकरा, पतला चौड़ा फैला
या------ अति गहरा
शिथिल हुये तुम थक जाते हो
ठहरो, पल भर कुछ सुस्तालों
देखो मनोरम चिन्ताहारक हारक
दृश्य चतुर्दिक बहते झरनों की
किलकारी, पशु, पक्षी कलरव
कोलाहल, कही छाँव में--
सोचो प्यारों, पलभर सोचों
नई ऊर्जा भरकर खुद में
नई मानसिकता का आसव
दृढ़ हो भय डर कैसा अरे
आत्मा विश्वासी मानव हो
तुम वीर साहसी------
और तुम्हारा पथ उज्जवल है।
जगह-जगह सेकेत बनाते
चलते-चलते चलना जीवन
जूझ-जूझ कर जीना जीवन
औरो के हित जीना जीवन
मेरा तो गन्तव्य यहीं तक
आगे हमसे राह बनाना
काम तुम्हारा लक्ष्य तुम्हारा
इसी तरह चलता जायेगा
जीवन पथ बढ़ता जायेगा
और-और कुछ और---
हजारों वर्ष बनेगे
हम न रहेंगे तुम न रहोगे
आना जाना लगा रहेगा
पथ का कोई अन्त न होगा
महाजनों का नाम रहेगा
पदचिन्हों का शेष रहेगा
इसी लिये कुछ ऐसा करदो
रह जाये बस नाम तुम्हारा
नाम तुम्हारा, पथ उज्जवल है
स्नेह चन्द्रा
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